इतना लिख चुकी हु तुझे सोचके
इतना अगर बारवी मै लिखा होता तो टॉप कर जाती
जितनी नींदे तेरी चाहत मै बिगाड़ी है
उतनी किसी और के लिए बिगाड़ी होती
तो वो मेरा पक्का वाला आशिक़ होता
तुझे तो फर्क ही क्या पड़ता है
मेरे रहने या ना रहने से
तुझे तो फर्क पड़ता है सिर्फ मेरे जीने से
पर
ऐसे तो नहीं मैं चाहती हु जीना
बस तेरी दुआ कबूल हो
मै यह गम पीना चाहती हू
जी तो लूगी तुझे देखके
पर मरना तेरी बाहों मै चाहती हु
तू अगर मेरा ना तो मेरा ना सही
पर तुझे उसका ना होने देना चाहती हु।
पीहू।
दिल की बात
इतना अगर बारवी मै लिखा होता तो टॉप कर जाती
जितनी नींदे तेरी चाहत मै बिगाड़ी है
उतनी किसी और के लिए बिगाड़ी होती
तो वो मेरा पक्का वाला आशिक़ होता
तुझे तो फर्क ही क्या पड़ता है
मेरे रहने या ना रहने से
तुझे तो फर्क पड़ता है सिर्फ मेरे जीने से
पर
ऐसे तो नहीं मैं चाहती हु जीना
बस तेरी दुआ कबूल हो
मै यह गम पीना चाहती हू
जी तो लूगी तुझे देखके
पर मरना तेरी बाहों मै चाहती हु
तू अगर मेरा ना तो मेरा ना सही
पर तुझे उसका ना होने देना चाहती हु।
पीहू।
दिल की बात
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